27-Apr-2018 06:31 AM
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आश्रम में नाबालिग से दुष्कर्म मामले में दोषी करार दिए गए आसाराम को उम्रकैद की और अन्य दो दोषियों शरतचंद्र और शिल्पी को 20-20 साल कैद की सजा सुनाई गई है। जोधपुर कोर्ट ने 25 अप्रैल को इस मामले में आसाराम समेत 3 लोगों को दोषी करार दिया गया और दो आरोपियों शिवा और प्रकाश को बरी कर दिया गया। जस्टिस मधुसूदन शर्मा ने जोधपुर जेल में अपना यह फैसला सुनाया। बहस के दौरान वकीलों ने आसाराम की अधिक उम्र का हवाला देते हुए उनके लिए कम सजा की मांग की थी।
फैसला आने के बाद पीडि़ता के पिता ने कहा कि आसाराम को दोषी ठहराया गया है, हमें न्याय मिला है। मैं उन सभी को धन्यवाद देना चाहता हूं जिन्होंने इस लड़ाई में हमारा समर्थन किया। अब मुझे आशा है कि उसे सख्त सजा मिलेगी। मुझे उम्मीद है कि जिन गवाहों का हत्या या अपहरण किया गया था, उन्हे भी न्याय मिला। अदालत का फैसला आने के बाद आसाराम की प्रवक्ता नीलम दुबे ने कहा हम कानून के जानकारों से चर्चा करेंगे और फिर भविष्य की कार्रवाई का फैसला करेंगे। हमें न्यायपालिका पर भरोसा है। आसाराम पर पॉक्सो और एससी/एसटी एक्ट की धाराएं लगाई गई हैं। आसाराम को जोधपुर पुलिस ने 31 अगस्त, 2013 को गिरफ्तार किया था और तब से वह जोधपुर जेल में बंद है। 77 साल के आसाराम के देश-विदेश में 400 से अधिक आश्रम हैं। धर्मगुरु के तौर पर देश-विदेश में अपनी पहचान बना चुके आसाराम की संपत्ति 2000 करोड़ रुपए से ज्यादा होने का अनुमान है। उसके समर्थक और उसे भगवान का अवतार मानने वालों की भी कमी नहीं है। दावा किया जाता है कि देश-विदेश में उसके 4 करोड़ से अधिक समर्थक हैं। धर्म का उपदेश देने वाले आसाराम को आसाराम बापू के नाम से जाना जाता है और उसके समर्थक तो उसे भगवान का अवतार मान बैठे हैं। लेकिन, सफेद वस्त्रधारण करने वाले आसाराम की काली करतूतों को लेकर शक पहले से ही होता रहा था। कई बार उसके आश्रम में हुई घटना उसके रहस्यमय जिंदगी और मायावी दुनिया को लेकर शक पैदा करती रही। लेकिन, अपनी राजनीतिक पहुंच और अपने लोगों द्वारा बनाए गए महान संत के आडंबर ने इस श्वेत वस्त्र धारी काली करतूतों वाले आसाराम को बच निकलने का रास्ता दे दिया।
आखिरकार सच्चाई से पर्दा उठा और एक दिन जब आसाराम के पाप का घड़ा भर गया तो फिर वो कहानी सामने आ गई जिसकी चर्चा पर्दे के पीछे दबी जुबां से हुआ करती थी। यह पूरा मामला मई 2013 में सामने आया था। मई 2013 में यूपी के शाहजहांपुर की रहने वाली एक नाबालिग लड़की ने आसाराम पर जोधपुर के बाहरी इलाके में स्थित उसके आश्रम में उसका यौन उत्पीडऩ करने का आरोप लगाया था। घटना के वक्त लड़की की उम्र महज 16 साल की थी। इसके बाद पीडि़त लड़की की शिकायत पर दिल्ली के कमला मार्केट थाने में आसाराम के खिलाफ रेप और यौन शोषण की जीरो पर एफआईआर दर्ज हुई थी। बाद में इस केस को जोधपुर ट्रांसफर कर दिया गया। आसाराम पर पॉक्सो और एससी/एसटी एक्ट के तहत कानून की धाराएं लगाई गई हैं। पुलिस ने 31 अगस्त, 2013 को आसाराम को इंदौर से गिरफ्तार किया था। तब से वो जोधपुर के सेंट्रल जेल में ही बंद है।
गुरमीत राम रहीम
इस लिस्ट में सबसे पहला नाम गुरमीत राम रहीम का है, जिसे दो साध्वियों के साथ रेप के आरोप में पिछले साल 10-10 साल की सजा सुनाई गई थी। इस मामले में साध्वियों ने रेप होने के 10 साल बाद यानी 2009-2010 में राम रहीम के खिलाफ केस दर्ज किया था। उन्होंने राम रहीम पर आरोप लगाया था कि वो उनके साथ-साथ डेरे की अन्य महिलाओं का भी रेप करता है। राम रहीम इस काम को अपनी गुफा में अंजाम देता था।
स्वामी भीमानंद
स्वामी भीमानंद श्री शिवमूरत द्विवेदी और महाराज चित्रकूट वाले के नाम से भी जाना जाता था। फाइव स्टार होटल में गार्ड की नौकरी करने वाले स्वामी भीमानंद आगे चलके संत बन गए। वो खुद को इच्छाधारी संत बताते थे। लेकिन कुछ समय बाद पुलिस ने उन पर सेक्स रैकट में शामिल होने के आरोप लगाए। उन पर आरोप लगाया गया कि भीमानंद लड़कियों को प्रवचन देने के बहाने सेक्स रैकट के दलदल में धकेलता था।
स्वामी सदाचारी
किसी समय स्वामी सदाचारी देश के महान गुरुओं में से एक थे। तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी समेत अन्य कई बड़े नेता भी उस समय स्वामी सदाचारी के भक्तों की लिस्ट में शामिल थे। मगर एक दिन स्वामी का सच भी लोगों के सामने आया और उन्हें वेश्यालय चलाने के आरोप में गिरफ्तार किया गया।
- बिन्दु माथुर