अब निजी वाहनों पर नहीं लगेगा टोल टैक्स
04-Apr-2022 12:00 AM 681

 

मप्र में अब निजी उपयोग में आने वाले यात्री वाहनों पर टोल टैक्स नहीं लगेगा। यह सुविधा राज्य सड़क विकास निगम की नई सड़कों पर उपलब्ध होगी। इसे लेकर राज्य सरकार ने टोल टैक्स से संबंधित नीति में नए प्रावधान किए हैं। वास्तव में, अब एकत्र किए गए टोल का 80 प्रतिशत वाणिज्यिक वाहनों से आता है। वहीं, निजी इस्तेमाल में आने वाले वाहनों पर टोल टैक्स कम और परेशानी ज्यादा है। इसी को ध्यान में रखते हुए यह फैसला लिया गया है। राज्य में अधिकांश प्रमुख सड़कों का निर्माण राज्य सड़क विकास निगम द्वारा बिल्ड ऑपरेट एंड ट्रांसफर (बीओटी) पद्धति पर किया जा रहा है।

जानकारी के अनुसार मुख्यमंत्री ने इसके मद्देनजर नीति में संशोधन का प्रस्ताव तैयार करने के निर्देश दिए थे। इसके मद्देनजर विभाग ने यह प्रावधान किया है। तय किया गया है कि अब चाहे बीओटी (जो एजेंसी सड़क बनाती है, टोल लेती है और निश्चित अवधि के बाद सरकार को सौंप देती है) की सड़क हो या फिर एन्यूटी पद्धति (इस एजेंसी द्वारा सड़क निर्माण करने के बाद उसे समान किश्तों में लागत राशि दी जाती है) पर बनने वाली सड़क हो, इन पर निजी उपयोग में आने वाले यात्री वाहनों से टोल टैक्स नहीं लिया जाएगा। विभाग के प्रमुख सचिव नीरज मंडलोई का कहना है कि अब टोल टैक्स लगाने के जो भी प्रस्ताव कैबिनेट की अनुमति के लिए भेजे जाएंगे, उनमें निजी वाहनों से टैक्स नहीं लेने का प्रावधान शामिल रहेगा। पूर्व में कुछ सड़कों के प्रस्ताव पुराने प्रावधान अनुसार कैबिनेट में चले गए थे और स्वीकृति भी मिल गई थी, उन्हें भी संशोधन के लिए प्रस्तुत करने की तैयारी की जा रही है।

लोक निर्माण विभाग की ओर से 200 सड़कों का सर्वे किया गया। यह बात सामने आई कि एकत्र किए गए टोल टैक्स का 80 प्रतिशत वाणिज्यिक वाहनों का है। निजी छोटे वाहनों पर सिर्फ 20 फीसदी टैक्स लगता है। वहीं, यात्रियों को ज्यादा परेशानी होती है। इसे देखते हुए मुख्यमंत्री के समक्ष यह प्रस्ताव रखा गया था कि यदि निजी वाहनों को टोल टैक्स से छूट दी जाती है तो यात्रियों को सुविधा होगी और राजस्व का अधिक नुकसान नहीं होगा। इसे देखते हुए मुख्यमंत्री ने नीति में संशोधन का प्रस्ताव तैयार करने के निर्देश दिए थे। इसे देखते हुए विभाग ने यह प्रावधान किया है। यह तय किया गया है कि सड़क बीओटी है (एजेंसी सड़क बनाती है, टोल लेती है और एक निश्चित अवधि के बाद इसे सरकार को सौंपती है) या वार्षिकी प्रणाली (एजेंसी द्वारा सड़क के निर्माण के बाद, समान किश्तों में लागत राशि दी गई)। इन सड़कों पर निजी इस्तेमाल के लिए यात्री वाहनों से टोल टैक्स नहीं वसूला जाएगा।

विभाग के प्रमुख सचिव नीरज मंडलोई के अनुसार अब टोल टैक्स लगाने के जो भी प्रस्ताव कैबिनेट की मंजूरी के लिए भेजे जाएंगे, उनमें निजी वाहनों से टैक्स नहीं वसूलने का प्रावधान शामिल नहीं किया जाएगा। पहले कुछ सड़कों के प्रस्ताव पुराने प्रावधान के अनुसार कैबिनेट में गए थे और उन्हें मंजूरी भी मिली थी लेकिन अब उन्हें संशोधन के लिए पेश करने की तैयारी की जा रही है।

ऐसे सभी वाहन जिनका इस्तेमाल बतौर कमर्शियल वाहन नहीं होता है, वो टोल टैक्स में रिवायत के दायरे में आते हैं। राज्य के सड़क विकास निगम द्वारा हाल में इस नीति में बदलाव किया है और ऑपरेट एंड ट्रांसफर के तहत बनाई गई सभी सड़कों पर अब टोल नहीं लगेगा। बिल्ड ऑपरेट एंड ट्रांसपोर्ट नीति के तहत एजेंसियां सड़क बनाती हैं और इसके लिए टोल वसूलती हैं। इसके अलावा प्रदेश सरकार इन एजेंसियों को आसान किश्तों में सड़क निर्माण की रकम चुकाती है। सरकार इन दोनों तरहों की सड़कों पर निजी वाहन चालकों से टैक्स नहीं वसूलेगी।

मप्र सरकार ने इस पॉलिसी में बदलाव से पहले राज्य की 200 सड़कों का सर्वे पीडब्ल्यूडी यानी लोक निर्माण विभाग द्वारा कराया था। सर्वे में सामने आया है कि कुल टोल टैक्स का 80 प्रतिशत सिर्फ कमर्शियल वाहनों से आता है, ऐसे में निजी वाहनों का योगदान सिर्फ 20 फीसदी ही है। इस राशि और इसे माफ करने पर जनता को होने वाले लाभ को ध्यान में रखते हुए प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने ये फैसला सुनाया है। इस फैसले से पहले पीडब्ल्यूडी ने एक प्रस्ताव तैयार किया था जिसमें निजी वाहनों का टोल टैक्स माफ करने की पूरी जानकारी मुख्यमंत्री के सामने पेश की गई। अब मप्र में केवल कमर्शियल वाहनों से टोल टैक्स वसूला जाएगा और निजी चालक बिना टोल चुकाए बूथ से आगे बढ़ सकेंगे। मप्र ने अपने 17 मुख्य सड़कों पर इन लोगों को मुक्त कर दिया है।

इन पर नहीं लगेगा टोल टैक्स

प्रदेश सरकार की नई नीति के अनुसार टोल नाकों पर जिन वाहनों को टोल टैक्स से छूट रहेगी, उनमें भारत सरकार और मप्र सरकार के समस्त यानी जो सरकारी ड्यूटी पर हों, संसद तथा विधानसभा के पूर्व और वर्तमान सदस्यों के गैर व्यवसायिक यान, ऐसे समस्त यान जो भारतीय सेना की ड्यूटी पर हों, एम्बुलेंस, फायर बिग्रेड, भारतीय डाक और तार विभाग के यान, कृषि प्रयोजन के लिए उपयोग की जाने वाली ट्रैक्टर ट्राली, ऑटो रिक्शा, दुपहिया वाहन, बैलगाड़ियां, स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों और अधिमान्यता प्राप्त पत्रकार यात्री वाहन जैसे बस, कार, जीप इत्यादि को टोल से छूट प्रदान की जाएगी। अभी तक 25 श्रेणियों से प्रदेश में टोल टैक्स नहीं वसूला जाता था, उनमें राष्ट्रपति, उपराष्ट्रपति, प्रधानमंत्री, मंत्रियों, सांसद, जज-मजिस्ट्रेट, बड़े-बड़े अधिकारी, रक्षा पुलिस, फायर, फाइटिंग, एंबुलेंस, शव वाहन, मजिस्ट्रेट सचिव, विभिन्न मंत्रालयों के अधिकारी, विभिन्न विभागों के सचिव, चुनिंदा राज्य और केंद्र सरकार के अधिकारी, राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण के अधिकारी शामिल थे। इनमें वो लोग भी शामिल हो सकते हैं जिन्हें राज्य सरकारों द्वारा छूट दी जाती है।

सिद्धार्थ पांडे

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